गुमनाम सदस्य
"अम्बिया": अवतरणों में अंतर
→किताबो का परिचय
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* '''[[अल-नूर उल-मुबीन फ़ी क़ेसस इल अम्बिया-ए वल मुरसलीन]]''': इस किताब को [[नेअमतुल्लाह जज़ाएरी]] (1050-1112 हिजरी) ने लिखा। यह किताब शिया रिवायतो मे उल्लेखित होने वाली अम्बिया की जीवनी पर आधारित है। लेखक ने किताब की भूमीका मे अम्बिया की संख्या, उनमे पाई जानी वाली समानता, ऊलुल अज़्म अम्बिया, और नबी तथा इमाम के बीच पाए जाने वाले अंतर पर चर्चा की है। अस्ल किताब अरबी भाषा मे है जबकि इसका अनुवाद फ़ारसी भाषा मे भी प्रकाशित हो चुका है। | * '''[[अल-नूर उल-मुबीन फ़ी क़ेसस इल अम्बिया-ए वल मुरसलीन]]''': इस किताब को [[नेअमतुल्लाह जज़ाएरी]] (1050-1112 हिजरी) ने लिखा। यह किताब शिया रिवायतो मे उल्लेखित होने वाली अम्बिया की जीवनी पर आधारित है। लेखक ने किताब की भूमीका मे अम्बिया की संख्या, उनमे पाई जानी वाली समानता, ऊलुल अज़्म अम्बिया, और नबी तथा इमाम के बीच पाए जाने वाले अंतर पर चर्चा की है। अस्ल किताब अरबी भाषा मे है जबकि इसका अनुवाद फ़ारसी भाषा मे भी प्रकाशित हो चुका है। | ||
* '''[[क़ेसस उल-अम्बिया रावंदी]]''': यह किताब [[कुतुबुद्दीन रावंदी]] ने लिखी है। लेखक ने इस किताब मे अम्बिया की परिस्थितियों का कालानुक्रमिक रूप से उल्लेख किया है। | * '''[[क़ेसस उल-अम्बिया रावंदी]]''': यह किताब [[कुतुबुद्दीन रावंदी]] ने लिखी है। लेखक ने इस किताब मे अम्बिया की परिस्थितियों का कालानुक्रमिक रूप से उल्लेख किया है। | ||
* '''[[तनज़ीह उल-अम्बिया वल-आइम्मा]]''': [[सैयद मुर्तजा]] (355-436 हिजरी) ने पैगंबरों की इस्मत की पुष्टि करने के लिए इसे अरबी में संकलित किया। इस पुस्तक में लेखक ने अम्बिया को सभी प्रकार की गलतियों, छोटे और बड़े पापों से निर्दोष माना है। | * '''[[तनज़ीह उल-अम्बिया वल-आइम्मा]]''': [[सैयद मुर्तजा]] (355-436 हिजरी) ने पैगंबरों की इस्मत की पुष्टि करने के लिए इसे अरबी में संकलित किया। इस पुस्तक में लेखक ने अम्बिया को सभी प्रकार की गलतियों, छोटे और बड़े पापों से निर्दोष माना है। | ||
* '''[[वक़ाए अल-सेनीन वल-आवाम]]''': सैयद अब्दुल हुसैन खातूनाबादी (मृत्यु 1105 हिजरी) द्वारा संकलित है। किताब तीन भाग पर आधारित हैं। पहला भाग अम्बिया के इतिहास से संबंधित है। इस भाग में, लेखक ने अम्बिया के नाम, जीवन काल और कुछ अम्बिया की कहानियों का उल्लेख किया है, जबकि अन्य दो भागों में, अल्लाह के रसूल के समय में हुई घटनाओं का वर्णन किया गया है इसका फारसी भाषा में अनुवाद किया गया है। | * '''[[वक़ाए अल-सेनीन वल-आवाम]]''': सैयद अब्दुल हुसैन खातूनाबादी (मृत्यु 1105 हिजरी) द्वारा संकलित है। किताब तीन भाग पर आधारित हैं। पहला भाग अम्बिया के इतिहास से संबंधित है। इस भाग में, लेखक ने अम्बिया के नाम, जीवन काल और कुछ अम्बिया की कहानियों का उल्लेख किया है, जबकि अन्य दो भागों में, अल्लाह के रसूल के समय में हुई घटनाओं का वर्णन किया गया है इसका फारसी भाषा में अनुवाद किया गया है। | ||
* '''[[लताइफ़ ए केसस उल-अम्बिया अलैहेमुस सलाम]]''': सहल बिन अब्दुल्ला तुस्तरी (मृत्यु 238 हिजरी) की रचान है। इस पुस्तक में, नबियों के जीवन से संबंधित बिंदुओं को आयतो और रिवायतो के प्रकाश में वर्णित किया गया है। | * '''[[लताइफ़ ए केसस उल-अम्बिया अलैहेमुस सलाम]]''': सहल बिन अब्दुल्ला तुस्तरी (मृत्यु 238 हिजरी) की रचान है। इस पुस्तक में, नबियों के जीवन से संबंधित बिंदुओं को आयतो और रिवायतो के प्रकाश में वर्णित किया गया है। | ||